लड़कियां गाएंगी अपनी स्वतंत्रता के गीत,वीमेंस डे पर ‘ओ वोमेनिया’ नाइट मार्च:
छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर ‘ओ वोमेनिया’ नाइट मार्च निकाला जाएगा। इस आयोजन में लड़कियां अपने अंदाज में अपनी स्वतंत्रता के गीत गाएंगी और अपने विचारों को खुल कर व्यक्त करेंगी। दरअसल, पुरुष प्रधान देश में आज भी आधी आबादी अपनी हक की लड़ाई लड़ रही है। ऐसे में लड़कियों की सुरक्षा और स्वतंत्रता को लेकर 8 मार्च की रात अरपा के रिवर व्यू रोड में यह कार्यक्रम रखा गया है।
अधिवक्ता प्रियंका शुक्ला, रोशनी बंजारे, हृतिका सिंह और उनके समूह ने गुरु घासीदास संघ और सृजनहार महिला यूनियन के साथ मिलकर यह कार्यक्रम आयोजित किया है। उन्होंने बताया कि ‘मेरी रात, मेरी सड़क’ समूह के माध्यम से अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर ‘ओ वोमेनिया’ नाइट मार्च रखा गया है। कहा कि पुरुष प्रधान समाज में भले ही कानून ने महिलाओं को उनका हक देने की कोशिश की है, लेकिन, समाज में आज भी वे शोषण का शिकार हो रही हैं।
उन्होंने कहा कि लड़कियों की सोच उनके कपड़ों से करते हुए छेड़छाड़, दुष्कर्म जैसी घटनाएं आम बात हो गई। इस तरह के घृणित कार्यों के लिए उल्टे लड़कियों को ही दोषी ठहराया जाता है। यही नहीं उनके खान-पान, रहन-सहन, पहनने जीने के तरीके और जीवन साथी चुनने जैसे अधिकार समाज और परिवार के लोग तय करते हैं। ऐसी सोच को दूर करने के लिए यह कार्यक्रम रखा गया है।
गीत के माध्यम से विचार व्यक्त करेंगी लड़कियां
अधिवक्ता प्रियंका शुक्ला ने बताया कि रात 9 से रात 12 बजे तक आयोजित इस कार्यक्रम में लड़कियां और महिलाएं अपनी आजादी को लेकर गीतों के माध्यम से अपना विचार व्यक्त करेंगी। उन्होंने बताया कि हर एक लड़की अपनी स्वतंत्रता की लड़ाई लड़ रही है। अपने हक अधिकार के लिए लड़कर ही उसके हाथ कुछ लग पा रहा है। समाज की नकारात्मक सोच के चलते लड़कियां गुलामी की जंजीरों में जकड़ी हुई है। इस आयोजन के माध्यम से लोगों को जागरूक करने की कोशिश की जाएगी।
युवकों को भी दिया गया है आमंत्रण
रात करीब 12 बजे इस आयोजन के बाद लड़कियों का पैदल मार्च भी होगा। पैदल मार्च करते हुए लड़कियां देवकीनंदन चौक तक जाएंगी। प्रियंका शुक्ला ने बताया कि यह आयोजन सिर्फ महिलाओं के लिए ही नहीं। बल्कि, सभी वर्ग के लिए है। इस कार्यक्रम में समाज के सभी लोगों का शामिल होना इसलिए भी जरूरी है। ताकि, उन्हें यह महसूस हो सके कि लड़कियों की समाज में क्या स्थिति है और लोग क्या सोच रखते हैं। इसे दूर कर जागरूकता लाने की आवश्यकता है।