राहत: कबीरधाम में औसत से अधिक बारिश ,बांध का पानी किनारे तक टकराने लगे,लहलहाने लगी फसलें

कबीरधाम जिले में जमकर बरसात हुई है। इतनी कि संभावित वार्षिक औसत बारिश का कोटा समय से 2 महीने पहले ही पूरा हो गया है। आमतौर पर अक्टूबर महीने मानसून की विदाई होती है।
लेकिन 1 जून से 18 अगस्त की स्थिति में 875.6 मिमी औसत बारिश हो चुकी है, जो कि कुल वार्षिक अनुमान से 7.52 फीसदी ज्यादा है। अच्छी बारिश के चलते जिले के सभी बांध भर चुके हैं, वहीं फसलें लहलहाने लगी हैं।
बांधों के भर जाने से किसानों को दिक्कत नहीं होगी। पिछले दिनों हुई लगातार बारिश के कारण 100 फीसदी से ज्यादा भर चुके हैं। इन बांधों के उलट से ओवरफ्लो होकर पानी बह रहा है। वहीं कर्रा नाला बैराज में 85 फीसदी तक पानी भरा हुआ है। प्रेशर से बांध का गेट न टूट जाए, पानी बाहर निकाला जा रहा है।
पखवाड़ेभर में ही 313 मिमी औसत बारिश
पखवाड़ेभर में ही जिले में 313 मिमी औसत बारिश हुई है। इससे पहले 12 सालों में इतनी बारिश नहीं हुई। लगातार बारिश के कारण बांधों के कैचमेंट एरिया में अब भी पानी की आवक हो रही है। इससे बांध का जलस्तर बढ़ा हुआ है। पांच में से 4 बांध के उलट से पानी ओवरफ्लो हो रहा है।
खरीफ फसल
वर्ष 2021- 22 में सर्वे के मुताबिक कबीरधाम जिले में धान का कुल रकबा 1.15 लाख हेक्टेयर है। ज्यादातर रकबा सिंचाई के लिए इन बांधों पर ही आश्रित हैं। अच्छी बारिश के कारण खेतों मंें अभी पर्याप्त पानी भरा है। धान के पौधे जब कुछ बड़े हो जाएंगे, तो और पानी की जरूरत होगी।सरोदा जलाशय : जलभराव क्षमता 30.15 मिली घन मीटर है। क्षमता का 109.39% भर चुका है। बांध के उलट 41.70 क्यूसेक पानी बाहर जा रहा है।
छीरपानी जलाशय : जलभराव 50.25 मिली घन मीटर, क्षमता का 101.57% भर चुका है। सिंचाई के लिए नहर में 64.681 क्यूसेक पानी छोड़ रहे हैं। वहीं 2.397 क्यूसेक उलट चल रहा है।
सुतियापाट जलाशय : जलभराव क्षमता 35.18 मिली घन मीटर है। क्षमता का 102.84% भर चुका है। बांध के उलट से 26.33 क्यूसेक पानी बाहर छोड़ा जा रहा है।
बहेराखार जलाशय : जलभराव क्षमता 13.71 मिली घन मीटर है। क्षमता का 100.41% भर चुका है। बांध के उलट से 9.765 क्यूसेक पानी बाहर छोड़ा जा रहा है।
कर्रानाला बैराज : जलभराव क्षमता 18.09 मिली घन मीटर है। क्षमता का 84.39% भर चुका है। बांध से 1.31 क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा है, क्योंकि प्रेशर से गेट टूटने का डर है।