छत्तीसगढ़ स्पेशलदन्तेवाड़ा जिला

अब किसानों की होगी डबल इनकम , कलेक्टर विनीत नंदनवार के द्वारा जिले के सिंचाई सुविधाओं में विस्तार के लिए लगातार प्रयास किये जा रहे है

दंतेवाड़ा।  किसानों को सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध कराने के उददेश्य से विकासखण्ड गीदम अन्तर्गत कारली का दौरा किया। अब किसानों को साल भर 211 एकड़ में फैले क्षेत्र में पानी की उपलब्धता किसानों को मिल सकेगी। उन्होंने किसानों के फसल उत्पादन के लिए ट्यूबवेल की आवश्यकता बताने पर पर्याप्त सिंचाई के लिये बिजली कनेक्शन उपलब्ध कराते हुए खेतों तक विद्युत कनेक्शन पहुंचाकर पानी की उपलब्धता हेतु नदी से लिफ्ट करने के निर्देश संबंधित अधिकारियों को दिए कनेक्शन से किसानों के हर खेत तक पानी की सुलभता होगी। जिससे क्षेत्र के किसानों की स्थिति बेहतर हो पाएगी और वर्ष भर उन्हें पानी मिल सकेगा। अब किसानों के खेतों में पानी मिलने से काफी सहूलियत होगी और इससे 25 किसान परिवार लाभान्वित होंगे। इस दौरान किसानों ने फसल उत्पादन में आने वाली समस्याओं के बारे में कलेक्टर को अवगत कराया। कलेक्टर ने समस्याओं के निराकरण के लिए उन्हें आश्वस्त किया। उन्होंने किसानों से चर्चा कर उत्पादन किये जा रहे फसलों, उपयोग किये जाने वाले यंत्रों इत्यादि की जानकारी ली। साथ ही रबी की फसल लेने हेतु प्रोत्साहित किया। जिससे मूंग, उड़द जैसे दलहन, सब्जियों का उत्पादन कर उनकी आमदनी में इजाफा होगा। उपस्थित किसानों ने बताया कि पहले पानी की कमी की वजह से वे अच्छी फसल उत्पादन नहीं कर पाते थे।तार फेंसिंग न होने की वजह पशुओं द्वारा सब्जियों में नुकसान उठाना पड़ता था। पर अब जिला प्रशासन द्वारा फसल उत्पादन में सहयोग मिल रहा है। खेत मे पर्याप्त मात्रा में पानी पहुंचने से उनकी आमदनी में वृद्धि होगी। किसान अब उन खेतों में भी मनचाही फसल उगा सकेंगे। कलेक्टर ने इस दौरान अधिकारियों को उन्नत किस्म की नये फसलों से किसानों को लाभान्वित करने के भी निर्देश दिए।

कलेक्टर विनीत नंदनवार ने दंतेवाड़ा विकासखंड अंतर्गत पुरनतराई नर्सरी का निरीक्षण कर वहां पूरे परिसर में भ्रमण कर उपलब्ध पौधों के संबंध में जानकारी ली। उन्होंने नर्सरी में सीडलिंग प्लांट यूनिट और बीज, आदि का अवलोकन किया। उन्होंने सीडलिंग यूनिट के परिसर में मिर्च, टमाटर, पपीता, लीची, बैंगन, गोभी ,पत्ता गोभी आदि के लगाए गए नर्सरी का जायजा लिया। कलेक्टर ने नर्सरी में वृहद स्तर पर पौध रोपण के लिए फलदार एवं छायादार पौधे तैयार रखने के निर्देश दिए। निरीक्षण के दौरान विभागीय अधिकारियों ने बताया कि 11.796 हेक्टेयर क्षेत्र में नर्सरी फैला है। जिसमें आम, लीची, अमरूद जैसे फलदार वृक्ष का उत्पादन होता है। कलेक्टर नंदनवार ने निरीक्षण के दौरान नर्सरी को व्यवस्थित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि नर्सरी को माडल नर्सरी के रूप में विकसित करें ताकि जिलों के किसान नर्सरी को देखकर उन्नत कृषि के लिये प्रेरित हो सके। साथ ही पोषण बाड़ी योजना अंतर्गत किसानों को लाभान्वित करने को कहा।

 

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